निकाय चुनाव से पहले निवर्तमान पालिकाध्यक्ष का जाति प्रमाण पत्र सुर्खियों में बना हुआ है। प्रमाण पत्र को फर्जी बताते हुए उसकी जांच कराए जाने की मांग को लेकर उन्हीं की पार्टी के लोगों ने एसडीएम को ज्ञापन सौंपा है। वहीं एसडीएम अमृता शर्मा ने जाति प्रमाण पत्र की जांच को लेकर तहसीलदार अक्षय कुमार भट्ट के नेतृत्व में टीम का गठन किया है।
बता दे कि बाजपुर नगर पालिका अध्यक्ष की सीट ओबीसी घोषित हुई है। ऐसे में ओबीसी समाज से जुड़े कांग्रेस के दावेदारों द्वारा बीते दिनों काशीपुर में अपनी दावेदारी पेश की गई थी। जिसमें निवर्तमान पालिका अध्यक्ष ने भी खुद को ओबीसी बताते हुए अपने दावेदारी की थी। इसी के चलते कांग्रेस पार्टी में ओबीसी समाज के सभी दावेदार बाजपुर के एसडीएम कार्यालय पर एकत्र हुए।
जहां कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने निवर्तमान पालिका अध्यक्ष के प्रमाण पत्र को फर्जी बताते हुए उसकी जांच कराए जाने की मांग को लेकर एक ज्ञापन एसडीएम अमृता शर्मा को सौंपा। इस दौरान कांग्रेस नेता रेशम यादव ने कहा कि निवर्तमान पालिकाध्यक्ष जट सिख समाज से है, जिन्होंने सेटिंग के चलते अपना जाती प्रमाण पत्र जाट समुदाय का बना लिया है, जो बिल्कुल फर्जी है।
वही कांग्रेस नेता प्रेम सिंह यादव ने कहा कि निवर्तमान पालिकाध्यक्ष द्वारा फर्जी जाती प्रमाण पत्र बनाकर ओबीसी समाज के लोगों को मिले आरक्षण का लाभ लेना चाहते है। जिसे किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
इस दौरान कांग्रेस के जिला उपाध्यक्ष महिपाल सिंह यादव ने कहा कि फर्जी प्रमाणपत्र बनाकर जो लाभ लेने का षडयंत्र रचा जा रहा है, इसे किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रमाणपत्र की जांच को लेकर एसडीएम को ज्ञापन दिया गया है।
वही एसडीएम अमृता शर्मा ने बताया कि प्रमाण पत्र की जांच को लेकर कुछ लोगों के द्वारा ज्ञापन दिया गया है। जिसकी जांच के लिए तहसीलदार अक्षय कुमार भट्ट के नेतृत्व में एक कमेटी का गठन किया गया है। उन्होंने कहा कि जांच में जो भी तथ्य सामने आएंगे उसके अनुसार कार्यवाही की जाएगी।
