उधम सिंह नगर में भूमाफियों का तांडव बढ़ता ही जा रहा है, जो कि रुकने का नाम ही नही ले रहा है। प्रशासन की मिलीभगत के चलते भूमाफ़िया हरेभरे फलदार पेड़ो को काटकर कॉलोनी निर्माण करने में लगे हैं। जिस पर स्थानीय प्रशासन अपनी आंखें मूंदे मदारी का तमाशा देख रहा है। ताजा मामला बाजपुर का है, जहां पर भूमाफिया एक आम के बगीचे को काटकर भूमि को खुर्दबुर्द करने में लगे हैं।
बाजपुर में भू माफियाओं का कहर जमकर देखने को मिल रहा है। जिन्हें ना तो अधिकारियों का डर है और ना ही कानून की परवाह। यह भूमाफिया हरे-भरे फलदार वृक्षों को काटकर कंक्रीट के जंगलों में तब्दील कर रहे हैं। लेकिन अधिकारी हैं कि सब कुछ देख कर भी अनदेखा कर रहे हैं और मात्र कार्यवाही की बात को कहकर खानापूर्ति कर रहे हैं।
मामला बाजपुर के ग्राम केशोवला मोड़ का है, जहां विगत लंबे समय से एक भूमि आम के बगीचे में दर्ज थी। लेकिन भू माफियाओं ने फलदार आम के बाग पर आरियां चला दी। इतना ही नहीं भू माफियाओं ने अधिकारियों की बिना अनुमति के अवैध रूप से कॉलोनी का निर्माण करना शुरू कर दिया। मुख्य मार्ग पर अवैध रूप से बन रही कॉलोनी को देखने के बाद भी अधिकारियों ने कोई कार्यवाही करने की जहमत तक नहीं उठाई। जिससे भू माफियाओं के हौसले बुलंद होते चले गए और भू माफियाओं ने राजकीय कन्या इंटर कॉलेज के सामने चीमा पेपर मिल की भूमि पर भी अवैध रूप से कॉलोनी का निर्माण करना शुरू कर दिया।
अधिकारियों की उदासीनता का परिचय देखते हुए भू माफिया चांदी काट रहे हैं और लोगों को उनके सपनों का घर बता कर उन्हें ठगने का काम कर रहे हैं। वही जब क्षेत्र में अवैध रूप से काटी जा रही कॉलोनियों की जानकारी बाजपुर एसडीएम राकेश चंद्र तिवारी को दी गई, तो उन्होंने खुद अवैध रूप से कट रही कॉलोनियों की जानकारी होना कबूल लिया। उन्होंने बताया कि उनके द्वारा अवैध रूप काटी जा रही कॉलोनियों को देखा गया है और इसकी जानकारी प्राप्त करने के लिए राजस्व उप निरीक्षकों को निर्देश दिए गए हैं।
अब ऐसे में सवाल तो यह उठता है कि जब अधिकारी अवैध रूप से काटी जा रही कॉलोनियों को देखने के बाद भी कोई कार्यवाही नहीं कर पा रहे हैं तो फिर अधिकारियों से आगे कार्यवाही करने की उम्मीद कैसे लगाई जा सकती है। जिससे प्रतीत होता है कि कहीं ना कहीं अधिकारियों की मिलीभगत से बाजपुर में अवैध रूप से कॉलोनियों के निर्माण का खेल खेला जा रहा है।