अधिकारियों द्वारा घूस लेने की खबरें आए दिन सुनने को मिलती हैं। नया मामला औरास ब्लाक से सामने आया है। जहां कृषि रक्षा इकाई प्रभारी अजय सिंह ने आवेदन के सत्यापन के लिए 10 हजार रुपये की मांग की। युवक ने इसकी शिकायत यूपी विजिलेंस टीम से कर दी। जिसके बाद अधिकारियों ने अजय सिंह को घूस लेते रंगे हाथों दबोच लिया।
उत्तर प्रदेश के उन्नाव के औरास थाना क्षेत्र के गेरुआ के रहने वाले सत्येंद्र कुमार ने पिता ओम प्रकाश के नाम से रोटावेटर, कृषि यंत्र पर छूट प्राप्त करने के लिए कृषि विभाग में आवेदन किया था। जिसमें वह चयनित भी हो गया। प्रभारी कृषि रक्षा इकाई के पद पर तैनात अजय सिंह ने सत्येंद्र कुमार से आवेदन पत्र के सत्यापन आख्या लगाने के नाम पर 10 हजार घूस मांगी। इस पर उसने यूपी सतर्कता अधिष्ठान लखनऊ से शिकायत कर दी। इस पर योजना बनाकर विजिलेंस टीम ने बुधवार को 10 हजार रुपये घूस लेते हुए अजय सिंह को रंगे हाथों दबोच लिया। तलाशी के दौरान 10 हजार रुपये भी बरामद हुए। प्रभारी कृषि रक्षा इकाई ब्लाक के खिलाफ लखनऊ में सुसंगत धाराओं में केस दर्ज किया गया।
उन्नाव में घूस लेते दरोगा को दबोचा
इससे पहले जिले के ही पुरवा थाने में तैनात दरोगा राजेंद्र कुमार को मंगलवार को एंटी करप्शन की टीम ने पांच हजार रुपये की घूस लेते रंगे हाथों धर दबोचा। सड़क हादसे के एक मामले में विवेचना में वाहन और चालक का नाम निकालने के एवज में दरोगा ने यह रकम मांगी थी। वहीं, एसपी ने दरोगा को सस्पेंड कर दिया है।
पुरवा क्षेत्र में हुए एक सड़क हादसे में 15 जून को वाहन व उसके चालक पर मुकदमा दर्ज हुआ था। इसकी विवेचना कर रहे प्रतापगढ़ थाना अंतू के छत्रपुर गांव निवासी दरोगा राजेन्द्र कुमार ने मुकदमे से वाहन व चालक का नाम निकालने के एवज में पांच हजार रुपये मांगे थे। पंचमखेड़ा गांव निवासी बोधराज वर्मा ने शिकायत एंटी करप्शन टीम से की। दरोगा को थाने के गेट के बाहर पान की दुकान पर शिकायत कर्ता ने जैसे ही रुपये सौंपे टीम ने पकड़ लिया।